तूने इतना दिया रे भोलेनाथ के गम सारे भूल गए……
तूने आंखे दी है जिसमे ज्योति दी है,
तेरे दर्शन करुंगी भोलेनाथ के गम सारे भूल गए,
तूने इतना दिया रे भोलेनाथ के गम सारे भूल गए……
तूने कान दिए जिसमे पर्दी दिया,
तेरी कथा सुनूंगी भोलेनाथ के गम सारे भूल गए,
तूने इतना दिया रे भोलेनाथ के गम सारे भूल गए……
तूने कंठ दिया जिसमे जिव्हा दी है,
तेरे भजन करुंगी भोलेनाथ के गम सारे भूल गए,
तूने इतना दिया रे भोलेनाथ के गम सारे भूल गए……
तूने हाथ दिए जिसमे बंधन दिया,
मैं तो दान करुंगी भोलेनाथ के गम सारे भूल गए,
तूने इतना दिया रे भोलेनाथ के गम सारे भूल गए…….
तूने पाँव दिए जिसमे बंधन दिया,
मैं तीर्थ करुंगी भोलेनाथ के गम सारे भूल गए,
तूने इतना दिया रे भोलेनाथ के गम सारे भूल गए……..
Author: Unkonow Claim credit