राम दिवाली आज है राम दिवाली
चौदह बरस के बाद अयोध्या ,लौटे हैं जगवाली।

अंधियारे पथ हुए उजियारे। बड़े प्रसन्न अयोध्या वारे।।
दुल्हन जैसी सजी अयोध्या ,शोभा बनी निराली -आज है…

दीप करोड़ों जाग रहे हैं। अनहद बाजे बाज रहे हैं।।
हर कोई झूमें नाचे गावे ,हर चेहरे पै लाली -आज है…

जित देखो तित लगा है मेला। राम-भरत मिलन की बेला।।
आनंद के घन बरस रहे हैं ,झूमें डाली डाली-आज है…

‘‘मधुप’’ राम गुण गात खुदाई। राम राज की ध्वज लहिराई।।
घर घर मंगल बजी बधाई ,छाई है खुशिहाली आज है… ।

Author: सुप्रसिद्ध लेखक एवं संकीर्तनाचार्य श्री केवल कृष्ण ❛मधुप❜ (मधुप हरि जी महाराज) अमृतसर

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