मस्त रहव है मस्त रहव
भोला भंडारी मस्त रहव
कदे लटा भदा के मस्त रहव
कदे भांग रमा के मस्त रहव
कदे लटा भदा के मस्त रहव
कदे भांग रमा के मस्त रहव
कदे तांडव करता गुस्से में
कदे नाद बजाते मस्त रहव
क्योंकि है भोला मेरा मस्त मस्त
मस्त मस्त
मस्त रहव हा मस्त रहव
भोला भंडारी मस्त रहव
मस्त रहव हा मस्त रहव
भोला भंडारी मस्त रहव
कदे सैर करे स दुनिया की
कदे पचधुन्या में तपया करे
ओ तियाप्त की लगा समाधी
ॐ नाम न जप्या करे
वो सैर करे स दुनिया की
कदे पचधुन्या में तपया करे
ओ तियाप्त की लगा समाधी
ॐ नाम न जप्या करे
ॐ नाम न जप्या करे
कदे भर भर लोट्ये पीया करे
कदे सूखी खाके मस्त रहव
क्योंकि है भोला मेरा मस्त मस्त
मस्त मस्त
मस्त रहव हा मस्त रहव
भोला भंडारी मस्त रहव
हा मस्त रहव हा मस्त रहव
भोला भंडारी मस्त रहव
आदि अनादी भूत भविष्य
वर्तमान भी शंकर जी
आजाद भी आबाद भी
है सिद्धि ध्यान है शंकर जी
आदि अनादी भूत भविष्य
वर्तमान भी शंकर जी
आजाद भी आबाद भी
है सिद्धि ध्यान है शंकर जी
कदे तान सुरीली टोहे जा
कदे मन से गाके मस्त रहव
क्योंकि है भोला मेरा मस्त मस्त
मस्त मस्त
मस्त रहव हा मस्त रहव
भोला भंडारी मस्त रहव
हा मस्त रहव हा मस्त रहव
भोला भंडारी मस्त रहव
Author: Meeta Baroda | Yogi Anjana,Azad Singh Khanda