कईया बैठ्या हो चुपचाप,

बाबा थे म्हारा माँ बाप,

म्हापे लागि थारी छाप,

थारे भरोसे म्हे हाँ साँवरा,

ओ थारे भरोसे म्हे हाँ साँवरा।।

थारे हाथा में म्हारी जीवन डोर है,

थारे आगे ही रोने को मेरो जोर है,

म्हाने थारो ही आधार,

म्हारो था पर दारमदार,

म्हारो सारो परिवार,

थारे भरोसे म्हे हाँ साँवरा,

ओ थारे भरोसे म्हे हाँ साँवरा।।

मेरो दूजो नहीं है कोई आसरो,

थे ही पीहर हो थे ही म्हारो सासरो,

म्हाने थारे से ही आस,

म्हारो थारे पर विश्वास,

म्हे तो चरणा रा दास,

थारे भरोसे म्हे हाँ साँवरा,

ओ थारे भरोसे म्हे हाँ साँवरा।।

कईया बैठ्या हो चुपचाप,

बाबा थे म्हारा माँ बाप,

म्हापे लागि थारी छाप,

थारे भरोसे म्हे हाँ साँवरा,

ओ थारे भरोसे म्हे हाँ साँवरा।।

Author: Gokul Sharma

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