वो मेरे राम देखो आज मेरे घर आये ।
वो मेरे राम देखो आज मेरे घर आये ।।

सारे अरमान मेरे दिल के है निखर आये,
मेरे अंगना बहारे आयी है ।
आज गलियां भी मुस्कुरायी है,
वो मेरे राम देखो आज मेरे घर आये ।।

सारे अरमान मेरे दिल के है निखर आये ।।

बड़ा प्यारा है आज देखो प्यार का आलम,
ऐसा रंगीन गज़ब है बहार का आलम ।
कैसा रंगीन गज़ब है बहार का आलम,
मेरे सूने मन का चमन है खिला ।।

या दोर है जन्मो का गिला,
मेरे सपनो में आया करते थे ।
आज साकार मैंने पाया है,
आज शबरी के देखो राम द्वार पर आये ।।

वो मेरे राम देखो आज मेरे घर आये ।।

करू सत्कार कैसे इनको बिठाउंगी कहाँ,
पेड़ों की छाल का आसान मैं बिछाऊँगी कहाँ ।
खिलाऊ इन्हे है मेरे पास क्या,
रो शबरी के झूठे बेरो के सिवा ।।

बड़े ही चाव से वो खायेंगे,
मन ही मन वो मुस्कुरायेंगे ।
वो कोमल प्यार के भूखे है राम इधर आये,
वो मेरे राम देखो आज मेरे घर आये ।।

मेरे अंगना बहारे आयी है ।
आज गलियां भी मुस्कुरायी है ।।

वो मेरे राम देखो आज मेरे घर आये
वो मेरे राम देखो आज मेरे घर आये ।
सारे अरमान मेरे दिल के है निखर आये,
सारे अरमान मेरे दिल के है निखर आये ।।

Author: जसपिंदर जी

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