ढोलक वजदी, छैणे वजदे
गूंज रहे जय कारे
भंगड़ा पांदे ने, पांदे भगत प्यारे….

सतगुरू जी दे भगता ने,
गुरु पूजा दा पर्व मनाया,
जग मग जग मग होई मन विच,
भक्ति दा दीप जगाया,
संगता आइया देन बधाईयां,
झूम रहे ने सारे,
भंगड़ा पांदे ने, पांदे भगत प्यारे….

सतगुरू जी दे भगता ने चरणा दी सेवा पाई,
करी विनती सचे मन नाल अपनी प्रीत लगाई,
दर्शन कर लो झोलिया भर लो,
सतगुरू वाजा मारे,
भंगड़ा पांदे ने, पांदे भगत प्यारे….

मेरे प्रभु ने खोलया साडी, बंद किस्मत दा ताला,
इस कलयुग विच दिता, सतगुरु ने आन सहारा,
हारा वाले सतगुरु प्यारे सबदे बेड़े तारे,
भंगड़ा पांदे ने, पांदे भगत प्यारे….

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