गुरुजी मन मिले का मेला रे उड़ जायेगा हंस अकेला….

चारों और बाग लगवाएं,
प्रभु जी बीच लगा दिए केला रे, उड़ जायेगा हंस अकेला…..

कोड़ी कोड़ी माया जोड़ी,
संग चले ना दे लारे, उड़ जायेगा हंस अकेला…..

क्यों करता है मेरा मेरा,
प्रभुजी चिड़िया रैन बसेरा रे, उड़ जायेगा हंस अकेला…..

कागज की एक नाव बनाई,
प्रभु जी छोड़ गई मत धारा रे, उड़ जायेगा हंस अकेला….

धर्मी धर्मी पार उतर गई,
प्रभु जी पापी गोत बसेरा रे, उड़ जायेगा हंस अकेला…..

Author: Unknown Claim credit

Comments

संबंधित लेख

आगामी उपवास और त्यौहार

मोहिनी एकादशी

गुरूवार, 08 मई 2025

मोहिनी एकादशी
वैशाखी पूर्णिमा

सोमवार, 12 मई 2025

वैशाखी पूर्णिमा
अपरा एकादशी

शुक्रवार, 23 मई 2025

अपरा एकादशी
शनि जयंती

मंगलवार, 27 मई 2025

शनि जयंती
निर्जला एकादशी

शुक्रवार, 06 जून 2025

निर्जला एकादशी
ज्येष्ठ पूर्णिमा

बुधवार, 11 जून 2025

ज्येष्ठ पूर्णिमा

संग्रह