
अब लेना देना क्या जहान से, दिल लगा खाटू वाले श्याम से
अब लेना देना क्या जहान से, दिल लगा खाटू वाले श्याम सेश्याम का रंग चढ़ गया कसम से, श्याम का रंग चढ़ गया… नैना मिले है सरकार से, ऐसा मुस्कुराया श्याम प्यार सेमुझको दीवाना कर...
खाटू श्याम जी भजन के भजन के सुंदर और भावपूर्ण लिरिक्स पढ़ें। हर भक्ति गीत के बोल अब पाएं सिर्फ bhaktiras.in पर!
अब लेना देना क्या जहान से, दिल लगा खाटू वाले श्याम सेश्याम का रंग चढ़ गया कसम से, श्याम का रंग चढ़ गया… नैना मिले है सरकार से, ऐसा मुस्कुराया श्याम प्यार सेमुझको दीवाना कर...
ये जो खुशियों की छायी है लहर के बाबा मेरे घर आया है,के बाबा मेरे घर आया है………..आज भजनो का हो गया असर के बाबा मेरे घर आया है,के बाबा मेरे घर आया है….. जहाँ...
हे नाथ प्राणाधार जीवन तेरे सहारे,श्याम आपकी कृपा से ये साँस चल रही है…… ये नैन कबसे प्यासे तेरी राह तक रहे है,आता नहीं नजर क्यूँ कब से बरस रहे है,श्यामआपकी…… दीनों के दीनानाथ सागर...
तर्ज – एक तू जो मिला ( सुना था मेरा दिल,अब तेरा धाम हो गया है,दुःख दर्द भरी दुनिया थी मेरी,पर अब आराम हो गया है,सब काम किये है तुमने,पर लख्खा का नाम हो गया...
मेरी करुणामयी सरकार ,मिलादो ठाकुर से इकबार ,कृपा कर भानुदुलारी ,राधे बरसाने वारी।। गोलोक के ठाकुर प्यारे।तेरे काज ब्रजधाम पधारे।।तेरे वश में नंदकुमार ,मिलादो ठाकुर से इकबार।कृपा कर……. हरिप्रिया प्रियावादिनी राधा।श्रीकृष्ण आह्लादिनी राधा।।हे बढ़भागिन ब्रजनार...
नटवर वेष काछे स्याम।पदकमल नख-इन्दु सोभा, ध्यान पूरनकाम॥जानु जंघ सुघट निकाई, नाहिं रंभा तूल।पीतपट काछनी मानहुं जलज-केसरि झूल॥कनक-छुद्वावली पंगति नाभि कटि के मीर।मनहूं हंस रसाल पंगति रही है हृद-तीर॥झलक रोमावली सोभा, ग्रीव मोतिन हार।मनहुं गंगा...
माधव कत तोर करब बड़ाई।उपमा करब तोहर ककरा सों कहितहुँ अधिक लजाई॥अर्थात् भगवान् की तुलना किसी से संभव नहीं है। पायो परम पदु गातसबै दिन एक से नहिं जात।सुमिरन भजन लेहु करि हरि को जों...
कहां लौं बरनौं सुंदरताई।खेलत कुंवर कनक-आंगन मैं नैन निरखि छबि पाई॥कुलही लसति सिर स्याम सुंदर कैं बहु बिधि सुरंग बनाई।मानौ नव धन ऊपर राजत मघवा धनुष चढ़ाई॥अति सुदेस मन हरत कुटिल कच मोहन मुख बगराई।मानौ...
बदन मनोहर गातसखी री कौन तुम्हारे जात।राजिव नैन धनुष कर लीन्हे बदन मनोहर गात॥लज्जित होहिं पुरबधू पूछैं अंग अंग मुसकात।अति मृदु चरन पंथ बन बिहरत सुनियत अद्भुत बात॥सुंदर तन सुकुमार दोउ जन सूर किरिन कुम्हलात।देखि...
अब मेरी राखौ लाज, मुरारी।संकट में इक संकट उपजौ, कहै मिरग सौं नारी॥और कछू हम जानति नाहीं, आई सरन तिहारी।उलटि पवन जब बावर जरियौ, स्वान चल्यौ सिर झारी॥नाचन-कूदन मृगिनी लागी, चरन-कमल पर वारी।सूर स्याम प्रभु...
जनम अकारथ खोइसिरे मन, जनम अकारथ खोइसि।हरि की भक्ति न कबहूँ कीन्हीं, उदर भरे परि सोइसि॥निसि-दिन फिरत रहत मुँह बाए, अहमिति जनम बिगोइसि।गोड़ पसारि परयो दोउ नीकैं, अब कैसी कहा होइसि॥काल जमनि सौं आनि बनी...
रे मन मूरख, जनम गँवायौ।करि अभिमान विषय-रस गीध्यौ, स्याम सरन नहिं आयौ॥यह संसार सुवा-सेमर ज्यौं, सुन्दर देखि लुभायौ।चाखन लाग्यौ रुई गई उडि़, हाथ कछू नहिं आयौ॥कहा होत अब के पछिताऐं, पहिलैं पाप कमायौ।कहत सूर भगवंत...