राधे तेरे चरणों की धूल

श्यामा तेरे चरणों की,
राधे तेरे चरणों की,
गर धूल जो मिल जाए ।
सच कहता हूँ मेरी
तकदीर बदल जाए ॥

श्यामा तेरे चरणों की,
राधे तेरे चरणों की

सुनता हूँ तेरी रहमत,
दिन रात बरसती है ।
एक बूँद जो मिल जाए,
दिल की कली खिल जाए ॥

श्यामा तेरे चरणों की,
राधे तेरे चरणों की

यह मन बड़ा चंचल है,
कैसे तेरा भजन करूँ ।
जितना इसे समझाऊं,
उतना ही मचल जाए ॥

श्यामा तेरे चरणों की,
राधे तेरे चरणों की

नजरों से गिराना ना,
चाहे जितनी सजा देना ।
नजरों से जो गिर जाए,
मुश्किल ही संभल पाए ॥

श्यामा तेरे चरणों की,
राधे तेरे चरणों की

श्यामा इस जीवन की
बस एक तमन्ना है ।
तुम सामने हो मेरे और
प्राण निकल जाए ॥

श्यामा तेरे चरणों की,
राधे तेरे चरणों की,
गर धूल जो मिल जाए ।
सच कहता हूँ मेरी
तकदीर बदल जाए ॥

Author: Unknown Claim credit

Comments

संबंधित लेख

आगामी उपवास और त्यौहार

उत्पन्ना एकादशी

शनिवार, 15 नवम्बर 2025

उत्पन्ना एकादशी
मोक्षदा एकादशी

सोमवार, 01 दिसम्बर 2025

मोक्षदा एकादशी
मार्गशीर्ष पूर्णिमा

गुरूवार, 04 दिसम्बर 2025

मार्गशीर्ष पूर्णिमा
सफला एकादशी

सोमवार, 15 दिसम्बर 2025

सफला एकादशी
गुरु गोविंद सिंह जयंती

शनिवार, 27 दिसम्बर 2025

गुरु गोविंद सिंह जयंती
पौष पूर्णिमा

शनिवार, 03 जनवरी 2026

पौष पूर्णिमा

संग्रह