ज्योत जलती है तेरे भवन में,
माता रानी मैं आयी शरण में,
तेरी किरपा में खिले फूल मन में,
माता रानी मैं आयी शरण में…..

आस लगाए बैठे भक्त तुम्हारे,
दुःख और कष्ट दूर करो माँ हमारे,
भक्त चले है माँ तेरे भवन को,
माता रानी मैं आयी शरण में……

मन में लगी है दर्शन अभिलाषी,
तू मेरी मईया है, मैं हु तेरी दासी,
तेरा नाम तो बसा है कण कण में,
माता रानी मैं आयी शरण में…..

Author: Unkonow Claim credit

Comments

संबंधित लेख

आगामी उपवास और त्यौहार

राधा अष्टमी

बुधवार, 11 सितम्बर 2024

राधा अष्टमी
दुर्वा अष्टमी

बुधवार, 11 सितम्बर 2024

दुर्वा अष्टमी
परिवर्तिनी एकादशी

शनिवार, 14 सितम्बर 2024

परिवर्तिनी एकादशी
ओणम/थिरुवोणम

रविवार, 15 सितम्बर 2024

ओणम/थिरुवोणम
पितृपक्ष प्रारम्भ

मंगलवार, 17 सितम्बर 2024

पितृपक्ष प्रारम्भ
अनंत चतुर्दशी

मंगलवार, 17 सितम्बर 2024

अनंत चतुर्दशी

संग्रह