डमरू वाले बाबा तुमको आना होगा

डमरू वाले बाबा तुमको आना होगा

डमरू वाले बाबा तुमको आना होगा,डम डम डमरू बजाना होगा,माँ गोरा संग गणपति जी को लाना होगा,डमरू वाले बाबा तुमको आना होगा….. सावन के महीने में हम कावड़ लेके आएंगे,पावन गंगा जल से बाबा तुम...

बाबा जी मेरे भोले बाबा जी

बाबा जी मेरे भोले बाबा जी

बाबा जी मेरे भोले बाबा जी,राजा जी महाकाल राजा जी,चोखट पे आ गई, जो कोई भी हस्ती,हर चीज मिलेंगी मेहगी हो या सस्ती,मेरे बाबा भोले नाथ पे अब छोड़ दें कस्ती,भूतों के राजा की सजती...

भोले बाबा को मनाकर देख

भोले बाबा को मनाकर देख

भोले बाबा को मनाकर देख दुःख सारे मिट जाएंगे,डमरू वाले को मनाकर देख दुःख सारे मिट जाएंगे,मिट जाएंगे दुःख सारे मिट जाएंगे…….. शीश भोले के गंगा विराजे,गंगा विराजे हाँ जी गंगा विराजे,जरा गोता लगा कर...

मेरी गौरा मईया भोले से रूठी

मेरी गौरा मईया भोले से रूठी

मेरी गौरा मईया री भोले से रूठी,मैं बिलकुल ना घोटूं ये तेरी बूटी…… जरा धीरे धीरे बोल विष्णु जी सुन लेगे,जरा होल होल बोले वो लक्ष्मी सुन लेगी,ये बूटी है गौरा मेरी दिव्य बूटी,मेरी गौरा...

नीलकंठ पर्वत पर चढ़ गयो रे

नीलकंठ पर्वत पर चढ़ गयो रे

नीलकंठ पर्वत पर चढ़ गयो रे,आज भोला फूलों से सज गयो रे,नीलकंठ पर्वत पर चढ़ गयो रे,आज भोला बेलपतोंसे सज गयो रे….. भोले की जटा मैं गंगा विराजे,गंगा से अमृत बरस गयो रे,आज भोला फूलों...

गौरा तेरी शादी शंकर से हो गई

गौरा तेरी शादी शंकर से हो गई

आसमान से फूलों की बरसात हो गई,गौरा तेरी शादी शंकर से हो गई,नीलकंठ में फूलों की बरसात हो गई,मेरी मईया जी की शादी भोले से हो गई…… गंगा कहे मैं बड़ी यमुना खे मैं बड़ी,काहे...

गौरा जी को लेने आए भोलेनाथ जी

गौरा जी को लेने आए भोलेनाथ जी

सजे है अंबर साजी है धरती,सजी पुरी आकाश जी,गौरा जी को लेने आए,मेरे भोलेनाथ जी….. घुंघट में चंदा सी लगे मेरी मैया पार्वती,मन मोहक सा रूप है लगे मेरे भोलेनाथ की,घुंघट में चंदा सी लगे...

मेरे लिए तो सबसे पहले मेरे भोले नाथ

मेरे लिए तो सबसे पहले मेरे भोले नाथ

कोई मन्नत मांगे कोई माला फेरे,शीश नए फिर कोई डेरे डेरे,मेरे सर पे आसमान सा बाबा तेरा हाथ,मेरे लिए तो सबसे पहले मेरे भोले नाथ……. मेरे भोले नाथ…….मेरे भोले नाथ…….मेरे भोले नाथ…….मेरे भोले नाथ…….मेरे भोले...

मुझे जाना है भोले के दर

मुझे जाना है भोले के दर

बाबा के इश्क़ में छोड़ के घर,ये कहता चला में डगर डगरमूजे पोहचा दो उज्जैन नगर,जहां रहते है महाकालेश्वर,मूजे जाना है बाबा के दर पर,बाबा के दर को चूमूँगा,चूमके दर को जुमूँगा,जहां आके फ़रिश्ते जुकाए...

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रविवार, 02 फरवरी 2025

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